- Home
- Chhattisgarh
- समाज : ‘ देवांगन जन कल्याण समिति की सामाजिक पत्रिका ‘ आवरण ‘ : समीक्षा लेख – डॉ. नीलकंठ देवांगन
समाज : ‘ देवांगन जन कल्याण समिति की सामाजिक पत्रिका ‘ आवरण ‘ : समीक्षा लेख – डॉ. नीलकंठ देवांगन
प्रकाशन अपने आप में दुःसाध्य कार्य है | वह भी सामाजिक पत्रिका जिसमें विभिन्न श्रोतों से लेख, सामग्रियाँ एकत्रित कर पत्रिका के गरिमा के अनुरूप प्रकाशन योग्य स्तरीय सामग्रियों को चयनित कर उन्हें निश्चित क्रम में स्थान देना और भी दुष्कर हो जाता है | पर, उद्देश्य बड़ा हो , दिल में जुनून और जज्बा हो तो असंभव भी संभव हो जाता है | देवांगन जन कल्याण समिति भिलाई नगर ने गौरवशाली पत्रिका, ‘आवरण ‘ के 26 वें अंक विविधवर्णी गुलदस्ता का रूप देकर सराहनीय कार्य किया है | समिति के अध्यक्ष घनश्याम कुमार देवांगन हैं और प्रधान संपादक भी वही हैं | कुशल माली की तरह उन्होंने इसे सुंदर स्वरूप दिया है | संपादक के पास अद्भुत सृजनात्मक क्षमता और शक्ति है | जीवन का गहरा अनुभव है | अनुभव जन्य लाभ पत्रिका को मिला, वे कई वर्षों से संपादन करते रहे हैं | उनके सिर पर अब जिम्मेवारियों के दो ताज हैं |
19 फरवरी 2023 को विमोचित आवरण पत्रिका का 26 वां अंक हाथ में आते ही ध्यान मुख पृष्ठ पर टिक गया | मस्तक श्रद्धावनत हो गया | कलात्मक सज्जा का अद्भुत नमूना व आकर्षण तो था ही, कुल की ईष्ट देवी मां परमेश्वरी का दिव्य व भव्य रूप आंखों के सामने था | प्रगति नगर रिसाल, भिलाई में भवन परिसर मंदिर में विराजित मां परमेश्वरी साक्षात् मूर्तिमान | प्रकाशमान मुख मंडल, मस्तक में तेजपुंज महाज्योति, चहुंओर तेजोमय आभामंडल , दिव्य वस्त्राभूषण, दिव्य अलंकार श्रृंगार, दिव्य आयुध, गले में रत्न मालाओं सहित पुष्पमाला, नाक में नथनी,कानों में कुंडल, सिर पर रत्न जड़ित ताज, ऊपर छत्र, सिंह पर सवार, अष्टभुजी वरदहस्त अभय मुद्रा में अनुपम छटा, साक्षात् दिव्य दर्शन | गहन शांति और शक्ति की अनुभूति |
दृष्टि और सकाश ले पृष्ठ पलटा तो जन प्रतिनिधियों के अभिनंदन वंदन के साथ उनके एवं समाज के विशिष्ट जनों के शुभ कामना संदेश |
पत्रिका में सामाजिक, सांस्कृतिक, साहित्यिक गतिविधियों का चित्रण, लेखकों, चिंतकों के प्रेरक विचार, राष्ट्रीय एवं राज्य स्तर पर क्रियांवित योजनाओं की लाभकारी जानकारी, आर्थिक, सामाजिक विकास के साथ राजनैतिक विकास की दिशा में प्रयास की संभावनाएं, समाज के गौरव, बेरोजगार युवाओं को स्वरोजगार अपनाने हेतु मार्गदर्शन, विवाह योग्य युवक युवतियों के परिचय हैं | साथ ही प्रतिष्ठित व्यापारियों, उद्योगपतियों के प्रतिष्ठानों के जानकारी युक्त विज्ञापन हैं |
इन सबका जिक्र घनश्याम कुमार देवांगन ने अपने सम्पादकीय लेख – ‘अपने को पहचानें, अपनी प्रतिभा निखारें ‘ शीर्षक में किया है |
उन्होंने अपने अध्यक्षीय लेख – ‘ सबका साथ, सबका विकास ‘ में 3 नवम्बर 1979 से पंजीकृत संस्था के रूप में स्थापित देवांगन जन कल्याण समिति के क्रमिक विकास एवं उसके गौरवशाली इतिहास को रेखांकित किया है | 8 जनवरी 2023 को पद भार ग्रहण करते ही अपनी दूरदर्शिता, सूझबूझ एवं तकनीकी ज्ञान से समाज को सभी क्षेत्रों में सक्षम एवं सुदृढ़ बनाने अपनी अभिनव कार्य योजना के सफल क्रियान्वयन हेतु शक्ति का विकेंद्रीकरण करते 25 विभागों का गठन कर कर्मठ, कुशल कार्यकर्ताओं को प्रभारी नियुक्त कर उन्हें जिम्मेदारी सौंप दी है जो समाज के प्रतिभाओं को अपने विभागों के क्रियाकलापों, गतिविधियों से जोड़कर उन्हें उभारने, संवारने, प्रोत्साहित करने का हर संभव प्रयास करेंगे |
महिलाओं की भागीदारी एवं युवाओं की सक्रिय भूमिका सुनिश्चित करने पहल की बात की है | भावी निर्माण कार्यों की जानकारी भी दी है |
रामानंद देवांगन ने ‘निवर्तमान अध्यक्ष की कलम से —‘ में समिति के खुद के भवन के लिए किए गए संघर्ष, भूखंड के लिए किए गए जद्दोजहद फिर भवन निर्माण के प्रयासों को गिनाते बताया है कि किस प्रकार समाज के लोगों ने एकजुटता का परिचय देकर प्रगति की संभावनाओं को तलाश कर त्याग एवं सेवाभाव से काम किया जिसका परिणाम आज का व्यापक, विकसित वर्तमान स्वरूप है, उसका विस्तारित कार्य क्षेत्र है | इसमें शासन के योगदान अनुदान के साथ सामाजिक बंधुओं का अंतर्निहित भाव एवं अपेक्षित सहयोग है |
अच्छे विचारों से समाज आगे बढ़ता है समाज की पहचान उसके विचारों से होती है | आवरण के सभी लेखों में निहित संदेश हैं, ज्ञानवर्धक हैं, प्रेरक हैं, समाज को दिशा देने की शक्ति है |
घनश्याम कुमार देवांगन ने ‘स्किल डेवलपमेंट’ में सरकारी एवं निजी संस्थानों में चलाए जा रहे स्किल डेवलपमेंट कोर्स की जानकारी दी है जिसके जरिए बेहतरीन कैरियर बनाया जा सकता है – ग्राफिक डिजाइनिंग, वीडियो और फोटो एडिटर, डिजिटल मार्केटिंग, पब्लिक मार्केटिंग, एकेडेमिक एंड बिजनेस राइटिंग, प्रोग्रामिंग, नेशनल एग्रीकल्चर एंड फूड एनालिसिस, अप्लाइड एंड प्योर साईंस, अन्य स्किल डेवलपमेंट कोर्स एवं ट्रेनिंग लेकर खुद में खुद में स्किल डेवलपमेंट करने हाई लाईट्स |
डॉ नीलकंठ देवांगन का ‘परिवार एक संगठन’ सामाजिक लेख है | व्यक्ति, परिवार, समाज में अंतःसंबंध एवं संगठन शक्ति की महत्ता को दर्शता है | संगठित समाज ही विकास कर सकता है, सकारात्मक सोच से समाज निखरता है, समाज के विकास में ही व्यक्ति का विकास है, परिवार के साथ समाज से जुड़कर सामाजिक दायित्वों का निर्वहन करने, अपना श्रेष्ठ परिवार एवं समाज को देने, समाज को संगठित करने का आह्वान है |
श्रीमती सुमन देवांगन की ‘दानशीलता की प्रतिमूर्ति – स्व श्री राम प्रसाद देवांगन’ लेख में
खरोरा के मालगुजार , प्रचलित नाम डंडीराम देवांगन गौंटिया द्वारा समाज के लिए किये कार्य, त्याग, सेवा एवं दान का प्रेरणा परक परिचय है जो अंचल में दीन दुखियों के हितैषी, उदारमना व्यक्तित्व के धनी, समाज सेवा में अग्रणी, दानवीर के रूप में विख्यात रहे हैं | समाज के लिए आदर्श हैं | उनसे सीख लेकर समाज को कुछ देने, समाज के लिए कुछ अच्छा करने की प्रेरणा ले सकते हैं |
खुमान साव देवांगन की बेरला के ‘समाज सेवा के व्रती – स्व. नारायण प्रसाद देवांगन’ लेख समाज के प्रति समर्पण भाव, परोपकार के यादगार कार्य करने एवं समाज के लिए कुछ अच्छा करने का संकल्प जगाता है |
श्री घनश्याम कुमार देवांगन के समग्र व्यक्तित्व एवं कृतित्व पर प्रकाश डालता हेमंत कुमार देवांगन का ‘ बहु आयामी व्यक्तित्व के धनी: श्री घनश्याम कुमार देवांगन’ संस्मरण सा लेख है | लेखक स्वयं लब्ध प्रतिष्ठ साहित्यकार, संपादक, समाज सेवी, पत्रकार हैं | उनकी तीक्ष्ण बुद्धि, पैनी व खोजी दृष्टि है | उन्होंने न केवल उनके जीवन पर प्रकाश डाला है ,वरन उनके ननिहाल अर्जुन्दा में जन्म के समय उस गांव का तत्कालीन परिवेश का जीवंत चित्रण किया है | जहां साधन सुविधा के लिए संघर्ष कर रहे दूसरे गांव वहीं बीसवीं शताब्दी में साठ के दशक में
शिक्षा का केंद्र बना, पेय जल के लिए नल का जाल बिछा सुविधा संपन्न, जागृत एवं आदर्श गांव अर्जुन्दा के माटी की महक और प्रकृति का अपूर्व वर्णन किया है |
उनकी शिक्षा दीक्षा, संस्कार, भिलाई इस्पात संयंत्र में उनकी प्रबंधकीय एवं प्रशासनिक पद पर की गई नौकरी, सेवा काल में उत्कृष्ट कार्यों एवं सेवाओं के लिए प्राप्त सम्मान पुरस्कार, बहु आयामी संस्था सृजन के केंद्रीय अध्यक्ष के रूप में अप्रतिम उपलब्धियों, साक्षरता परियोजना संयोजक के रूप में उनके योगदान, अपनी सहधर्मिणी श्री मती सुमन देवांगन के साथ मिलकर परमेश्वरी महोत्सव में मंच संचालन की श्रेष्ठ प्रतिभा, सामाजिक एवं राष्ट्रीय महत्व के कार्यों का आयोजन एवं कुशल संचालन, सेवा भाव एवं श्रम निष्ठा के बल पर अर्जित लोकप्रियता , जागरूकता ,दुर्लभ कीर्तिमान को क्रमिक रेखांकित किया है |
K. L. Dewangan ने UTTARAYAN लेख में अयन क्या है? , उत्तरायण एवं दक्षिणायन पर अंग्रेजी में सार्थक जानकारी देते हुए उत्तरायण की श्रेष्ठता एवं महत्ता को प्रतिपादित किया है |
सुयश रत्न देवांगन ने ‘देवांगन समाज के रोड मैप’ में समाज का तेजी से विकास, सपनों को साकार का करने, राजनीति में प्रतिष्ठित होने चार मुद्दों पर ध्यान आकर्षित किया है – 1 शिक्षा एवं रोजगार के क्षेत्र में, 2 समाज के लोगों के बीच आर्थिक क्रिया कलापों को बढ़ावा देना, 3 समाज को ब्रांड का रूप देना, 4 समाज के राजनैतिक उत्थान के लिए |
मधुबाला देवांगन ने ‘महिला सशक्तिकरण’ शीर्षक से नारी को सृजन शक्ति बताते उनका सम्मान करने और समाज में उन्हें उचित स्थान देने का आग्रह है क्योंकि वह बेचारी नहीं, महान है |
‘ मित्रता का महत्व’ लेख में नेक प्रभा देवांगन ने मित्रता में प्रेम और विश्वास को आवश्यक बताते उसके महत्व को उजागर किया है | मित्रता का समानार्थी शब्द दोस्ती | दोस्त यानी दोष को अंत करने वाला | दोस्ती यानी इंसान के बीच होने वाला भाईचारा |
उषा देवांगन अध्यक्ष महिला प्रकोष्ठ ने ‘अपनों से अपनी बात’ में समाज में वर्तमान में महिलाओं का सही चित्र खींचा है | प्रगति के इस दौर में महिलाएं हर क्षेत्र में आगे बढ़ी जरूर हैं, मगर जो दर्जा ,स्थान उन्हें मिलना चाहिए, उससे कोसों दूर हैं | उन्होंने लिखा है – ‘अपनी सभी भूमिकाओं में निपुणता दर्शाने के बावजूद आज के आधुनिक युग में महिला पुरुष के पीछे खड़ी दिखाई देती है |’ सचमुच आज स्त्रियां हर क्षेत्र में आगे आ रही हैं और पुरुषों के समान सब काम कर रही हैं | कई क्षेत्रों में वे पुरुषों से निपुण दिखाई देती हैं | पुरुष प्रधान क्षेत्र में समाज में उनकी अहमियत, काबिलियत को स्वीकार करना जरूरी है |
अपनी बोली भाखा की बात अलग होती है | तुलाराम देवांगन ने छत्तीसगढ़ी में छत्तीसगढ़िया सबले बढ़िया’ रचना में छत्तीसगढ़ एवं छत्तीसगढ़िया का मान बढ़ाया है | रेखा देवांगन की कविता ‘सौगात’ , रामगोपाल देवांगन की ‘खुशी के गीत गा ले’ कविता ज्ञान वर्धक एवं प्रेरणास्पद है |
‘ समाचार पत्रों की सुर्खियों में हमारा समाज ‘ में चित्रों के माध्यम से देवांगन जन कल्याण समिति द्वारा अनेक अवसर पर किए गए महत्वपूर्ण क्रियाकलापों एवं उपलब्धियों को बखूबी दिखाया गया है |
मुख पृष्ठ सज्जा बहुत ही आकर्षक, रंगीन, हृदयग्राही ,नयनाभिराम है | रंगीन पृष्ठ संयोजन सुघड़ , चित्ताकर्षक, सुंदर है | हर पृष्ठ शोभनिक है ,नजर ठहर जाती है | श्रीनिवास राव ने अपनी बुद्धि युक्ति से सजीव बना दिया है, सबका पसंदीदा बन गया है |
चित्रांकन बहुत बढ़िया है | आलेख या गीत कविता के अनुरूप सभी चित्र हैं जो ग्राह्य हैं, भावाभिव्यक्ति में सहायक हैं | हरीश कुमार देवांगन ने कुशलता से, प्रतिभा से,बारीकी से चित्रों को उकेरा है |
हिमांशु देवांगन ने अपनी तकनीकी ज्ञान से काबिले तारीफ वेबसाईट डेवलपमेंट किया है
मुद्रण सही , स्पष्ट एवं त्रुटिरहित है |
विविधवर्णी जानकारी युक्त विज्ञापन पृष्ठ रंगीन, मोटे कागज में प्लास्टिक कोटेड है जो उस व्यवसास , उद्योग, प्रतिष्ठान के निर्माण, विक्रय, कारोबार को दर्शता है | पर, त्रुटि यह हुई है कि ‘जी सस्ता होलसेल बाजार, बेल्हारी रोड जामगांव आर’ का विज्ञापन दो बार अलग अलग पेज में हो गया है | इसी प्रकार ओंकार कम्प्यूटर्स, पाटन का विज्ञापन एक जगह आधा पेज में तो दूसरी जगह चौथाई पेज में है | हो सकता है, दो विज्ञापन दिए हों |
पत्रिका ‘आवरण’ समाज को संगठित करने, शिक्षित संस्कारित शक्तिशाली बनाने, नारी एवं युवाओं को जगाने, उनकी प्रतिभा का लाभ समाज को मिले, प्रतिभाओं को प्रोत्साहित करने,समन्वित प्रयास से समाज आगे बढ़े, सामाजिक , सांस्कृतिक,आर्थिक, राजनीतिक क्षेत्रों में निरंतर प्रगति के सोपान तय करे जैसे अपने उद्देश्य में सक्षम सफल दिखाई देता है | प्रकाशित लेख समाज की आकांछाओं का आईना लगता है |
भिन्न भिन्न विभागों की गतिविधियों , कार्यक्रमों ,खेलकूद, प्रदर्शनियों आदि की झलकियां आगामी अंक में समाहित की जा सकती हैं|
•डॉ.नीलकंठ देवांगन
•संपर्क –
•84355 52828
🟥🟥🟥🟥🟥