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लकड़ियां बीन कर जंगल के रास्ते लौट रहे थे दो ग्रामीण, नक्सली की छुपाई IED पर पड़ गया पैर, फिर जो हुआ सोच नहीं सकते

1 week ago
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नारायणपुर: छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले में शुक्रवार को नक्सलियों ने एक IED (इम्प्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस) लगाया था, जिसके फटने से एक आदमी की जान चली गई और एक अन्य घायल हो गया। घटना जद्दा और मारकुद गांवों के बीच हुई। दो लोग जंगल में लकड़ी इकट्ठा करने गए थे, तभी यह धमाका हुआ। इस घटना ने एक बार फिर नक्सलियों की संवेदनहीनता को उजागर कर दिया है।

पुलिस अधिकारी ने बताया कि कांकेर जिले के रहने वाले राजेश उसेंडी और रामलाल कोर्राम (दोनों 25 वर्ष) जब उस रास्ते से गुजर रहे थे, तो उनका पैर IED पर पड़ गया। इससे विस्फोट हो गया। राजेश उसेंडी की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि रामलाल कोर्राम को नारायणपुर जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उनका इलाज चल रहा है। अधिकारी ने आगे कहा कि बस्तर क्षेत्र में IED के कारण ग्रामीणों की मौत और घायल होने की घटनाएं बढ़ रही हैं। यह नक्सलियों की निराशा और उनकी आदिवासी विरोधी मानसिकता को दर्शाता है। इस साल नारायणपुर में सुरक्षा बलों ने नक्सलियों द्वारा लगाए गए 15 से अधिक आईईडी बरामद किए हैं।

पहले भी ग्रामीणों ने गंवाई जान

जनवरी में भी नारायणपुर के कुरुषनार गांव में इसी तरह के एक आईईडी विस्फोट में एक ग्रामीण की मौत हो गई थी और दो अन्य घायल हो गए थे। 30 मार्च को पड़ोसी बीजापुर जिले में नक्सलियों द्वारा लगाए गए एक IED के फटने से एक 40 वर्षीय आदिवासी महिला की जान चली गई थी। माओवादी अक्सर बस्तर क्षेत्र में सड़कों, पगडंडियों और जंगलों में IED लगाते हैं। उनका मकसद सुरक्षा बलों को निशाना बनाना होता है। पुलिस के अनुसार, कई बार आम नागरिक और जानवर भी नक्सलियों के इन जाल में फंस जाते हैं।

अमित शाह का अल्टीमेटम

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने नक्सलियों को लेकर एक बड़ा बयान दिया था। उन्होंने कहा था कि वे मार्च 2026 तक नक्सलवाद को खत्म कर देंगे। लेकिन, जमीनी हकीकत कुछ और ही है। नक्सली अभी भी सक्रिय हैं और लगातार IED विस्फोट कर रहे हैं।

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