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दुर्ग : ब्रम्हाकुमारीज़ : साइंस भी तब डेवलप होती है जब डीप साइलेंस में जाकर एकाग्रता की शक्ति से एक्सपेरिमेंट करते हैं – बीके जयंती दीदी, अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका [एडिशनल चीफ] लंदन
भिलाई – दुर्ग [छत्तीसगढ़ आसपास न्यूज़] : प्रजापिता ब्रह्माकुमारी ईश्वरीय विश्व विद्यालय द्वारा सेक्टर 7 स्थित पीस ऑडिटोरियम में लन्दन से पधारी संस्था की अतिरिक्त मुख्य प्रशासिका (एडिशनल चीफ) बी के जयंती दीदी जी के भिलाई आगमन पर एनसीसी कैंडिडेटस के द्वारा गॉड ऑफ ऑनर देकर तथा छत्तीसगढ़ के पारंपरिक पंथी नृत्य द्वारा स्वागत किया गया।
भिलाई में बसता है मिनी इंडिया इसी थीम पर डिवाइन ग्रुप के बच्चों द्वारा भिलाई में एकता और प्रेम से रहने वाले सभी धर्म के अनुयायियों के रूप में जयंती दीदी जी का अनोखे अंदाज में स्वागत किया|
जयंती दीदी ने अपने दिव्य उद्बोधन में कहा कि आप भिलाई वालों का स्नेह, प्रेम को देखकर संस्था की पूर्व मुख्य प्रशासिका राजयोगिनी दादी जानकी जी ने भिलाई माना भलाई करने वाले का टाइटल दिया है आप सभी को , जिसका स्वरूप इस सभा में देखने को मिल रहा है|
आपने बताया की त्याग और तपस्या के बिना सफलता नहीं मिलती, आज राजयोगिनी दादियों ने मन की लेबोरेटरी में साइलेंस की शक्ति द्वारा परमात्म शक्तियों का एक्सपेरिमेंट कर इस ब्रह्माकुमारीज़ संस्था के विशाल वट वृक्ष को संपूर्ण विश्व में खड़ा किया है| दादियों की तपस्या का फल हैं इतनी बड़ी सभा|
आपने दादियों की तपस्या के बारे में बताते हुए कहा कि कई देशों के वैज्ञानिक जो भगवान में विश्वास नहीं रखते, उन्होंने भी दादी से मिलने के पश्चात परमात्मा की सत्ता को स्वीकार किया|
जिसमें (गुडनेस) अच्छाई है उस पर परमात्मा की नजर जरूर है इस तथ्य को दादी जी ने राजयोग मेडिटेशन द्वारा परमात्म शक्तियों की अनुभूति उन वैज्ञानिकों को कराकर उन्हें नास्तिक से आस्तिक बना दिया|
क्योंकि साइंस भी तब डेवलप होती है जब डीप साइलेंस में जाकर एकाग्रता की शक्ति से एक्सपेरिमेंट करते हैं|
आपने महानता (ग्रेटनेस) के बारे में बताते हुए कहा कि खुद में अगर महानता है तो आप अन्य आत्माओं को महान कार्य करने की प्रेरणा देते हैं|
आज हमें स्वयं को ही नहीं बल्कि संपूर्ण विश्व को शांति का दान देना है|
पंच कर्मेंद्रिय मुझे आत्मा को वश में करके रखी है लेकिन राजयोग द्वारा मुझ आत्मा को इन पांच कर्मेंद्रियां को वश में रखना है|
विचित्र परमात्मा की विचित्र लीला को हम इस संपूर्ण संसार में प्रत्यक्ष होते देख रहे हैं आज पूरा विश्व भारत को विश्व गुरु (वसुदेव कुटुम्बकम) के रूप में देख रहा है|
कार्यक्रम में पाटन, दल्ली राजहरा, नंदिनी अहिवारा, बेमेतरा, उतई, डोंडी लोहारा, जामगांव, बेरला सहित भिलाई के सभी सेवा केन्द्रों के ब्रह्मावत्स बड़ी संख्या में पहुंचे थे, अंतर्दिशा भवन का पीस ऑडिटोरियम पूरा भर गया| इसके पश्चात दो जगह एलईडी स्क्रीन प्रोजेक्टर के माध्यम से ब्रह्मावत्सो ने श्रवण लाभ लिया|
इस कार्यक्रम में विशेष रूप से हंसा दीदी माउंट आबू, छतीसगढ़ एवं इंदौर जोन की क्षेत्रीय निदेशिका ब्रह्माकुमारी हेमा दीदी, उज्जैन से आई ऊषा दीदी उपस्थित रही|
राजयोग भवन में आयोजित स्ट्रेस फ्री लाइफ में आपने भिलाई के प्रबुद्ध वर्ग को भी संबोधित किया, जिसमे मुख्य रूप से डॉक्टर,प्रिंसिपल,उद्योगपति,समाजसेवी उपस्थित रहे|
ज्ञात हो कि जयंती दीदी जी वर्तमान में पूरे देश व विदेश में अपनी गहरी साइलेंस पावर और आध्यात्मिक ऊर्जा से असंख्य आत्माओं की पालना कर रहे हैं… आप विगत 41 वर्षों से अधिक संस्था को (यूनाइटेड नेशन) संयुक्त राष्ट्र संघ जिनेवा में रिप्रेजेंट कर रहे हैं|
आप लंदन में बीके इंटरनेशनल कोऑर्डिनेटिंग ऑफिस ग्लोबल कॉरपोरेशन हाउस, ऑक्सफोर्ड में ग्लोबल रिट्रीट सेंटर के निदेशिका के साथ विश्व धर्म संसद परिषद की सलाहकार भी है|
आपने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कई वैज्ञानिक अनुसंधान से जुड़े ग्लोबल कॉन्फ्रेंस में विश्व के वैज्ञानिकों को राजयोग एवं साइलेंस पावर पर संबोधित किया है.
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