■विमोचन : बांग्ला की सुप्रसिद्ध कवयित्री बानी चक्रवर्ती की बांग्ला कविता संग्रह ‘अन्तर्लीन अवरोहन’.
♀ मुख्य अतिथि डॉ. भवानी प्रसाद मुखर्जी.
♀ विशिष्ट अतिथि- ‘छत्तीसगढ़ आसपास’ के संपादक प्रदीप भट्टाचार्य व उपन्यासकार लेखक रंजन राय.
●विमोचन करते हुये अतिथि
♀ संचालन लेखक के कवि गोविंद पाल.
●कवयित्री बानी चक्रवर्ती का अभिनंदन करते हुए डॉ. भवानी प्रसाद मुखर्जी और कवि प्रकाश मण्डल.
●गोविंद पाल द्वारा संपादित ’21 श्रेष्ठ बाल मन की कहानियां छत्तीसगढ़’ अतिथियों को भेंट करते हुए.
■भिलाई
*बंगीय साहित्य संस्था की 233वीं [29 मार्च] साहित्य गोष्ठी का आयोजन स्मृति नगर में बंगीय साहित्य संस्था के उपाध्यक्ष श्रीमती बाणी चक्रवर्ती के निवास पर सम्पन्न हुई । इसमें बाणी चक्रवर्ती जी की बांग्ला कविता संग्रह अन्तर्लीन अवरोहन का विमोचन किया गया। इस कार्यक्रम की अध्यक्षता बंगीय साहित्य संस्था के अध्यक्ष डाक्टर भवानी प्रसाद मुखर्जी ने की। विशिष्ट अतिथि के रूप में छत्तीसगढ़ आसपास के संपादक *प्रदीप भट्टाचार्य एवं हरियाणा गुडग़ांव से पधारे उपन्यासकार व लेखक रंजन राय उपस्थित रहे। बंगीय साहित्य संस्था के सचिव गोविंद पाल ने कार्यक्रम का संचालन करते हुए सबसे पहले रचनाकार बाणी चक्रवर्ती जी का सम्मान पुष्प गुच्छ व श्रीफल से अध्यक्ष से करवाया इसके पश्चात उपस्थित सभी लोगों ने सामुहिक रुप से मिलकर बाणी चक्रवर्ती जी के पुस्तक का विमोचन किया। तत्पश्चात भारत कथा माला के अंतर्गत “डायमंड पाॅकेट बुक्स द्वारा प्रकाशित 21 श्रेष्ठ बाल मन की कहानियां छत्तीसगढ़ जिसका संपादन ख्यातिलब्ध प्रतिष्ठित बाल साहित्यकार गोविंद पाल ने किया है, कार्यक्रम में अतिथियों के कर कमलों द्वारा बालमन की कहानी संकलन का भी लोकार्पण किया गया। इसके बाद बाणी चक्रवर्ती जी ने अपनी कविता संग्रह से तीन कविता का पाठ करके सुनाईं, जिसे उपस्थित लोगों ने भुरी – भुरी प्रशंसा की। सभी लोगों ने बारी- बारी से बाणी चक्रवर्ती जी के कविता संग्रह से कविता पढ़ कर उसकी त्वरित व्याख्यात्मक टिप्पणियाँ दी। इस अवसर पर कार्यक्रम में दीपक सरकार, दुलाल समाद्दार, पल्लव चटर्जी, प्रकाश चन्द्र मंडल, वासुदेव भट्टाचार्य, गीता सरकार, गोपेश रंजन, स्मृति दत्त, दिपाली दासगुप्त, शुभेंदु बागची, समरेन्द्र विश्वास, सोमाली शर्मा , रवीन्द्र नाथ देवनाथ, पुरवी घोष,आदि लोग उपस्थित रहे। इस बीच जोधपुर से विडियो कलिंग के माध्यम से कवि प्रानजी वसाक ने कार्यक्रम में उपस्थित सभी लोगों को अभिवादन करते हुए बाणी चक्रवर्ती को वधाईयां और शुभकामनाएं दी।
●लेखक रंजन राय का स्वागत करते हुए कवयित्री बानी चक्रवर्ती.
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